भारत सरकार की कुछ महत्वपूर्ण योजनाएं

*भारत सरकार की कुछ महत्वपूर्ण योजनाएं*

1. डिजिटल भारत

डिजिटल इंडिया की शुरुआत 21 अगस्त 2014 को हुई। इस  अभियान का उद्देश्य था कि भारत को एक इलेक्ट्रिाॅनिक अर्थव्यवस्था में बदला जाए। इस कार्यक्रम के तहत भारत सरकार की मंशा है कि सभी सरकारी विभाग और भारत की जनता एक दूसरे से डिजिटल रुप से या इलेक्ट्रिाॅनिक तौर पर जुड़े ताकि प्रभावी प्रशासन चलाया जा सके। इसका एक लक्ष्य कागज़ी कार्रवाई कम से कम करके सभी सरकारी सेवाओं को जनता तक इलेक्ट्रिाॅनिकली पहुंचाना है। सभी गांवों और ग्रामीण इलाकों को इंटरनेट नेटवर्क से भी जोड़ने की योजना है। डिजिटल भारत के तीन प्रमुख घटक हैं। डिजिटल बुनियादी सुविधाएं, डिजिटल साक्षरता और सेवाओं का डिजिटल वितरण।

2. परधानमंत्री जनधन योजना

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 28 अगस्त 2014 को प्रधानमंत्री जन धन योजना लांच की l इस योजना की घोषणा उन्होंने 15 अगस्त 2014 को अपने पहले स्वतंत्रता दिवस भाषण में की थी। यह एक वित्तीय समावेशन  योजना है। योजना के अनुसार कोई भी व्यक्ति शून्य बैलेंस राशि के साथ खाता खोल सकता है।

3. सवच्छ भारत अभियान

प्रधानमंत्री ने 24 सितंबर 2014 को स्वच्छ भारत अभियान को लांच की। जो कि पिछली सरकार द्वारा शुरु किये गए निर्मल भारत कार्यक्रम का संशोधित स्वरुप था। स्वच्छ भारत अभियान को औपचारिक रुप से महात्मा गांधी की जयंती पर 2 अक्टूबर 2014 को शुरु किया गया। इसका उद्देश्य था कि साल 2019 तक यानि महात्मा गांधी की 150 वीं जयंती तक भारत को स्वच्छ बनाया जा सके। योजना है कि ग्रामीण और दूरस्थ इलाकों तक शौचालय और साफ-सफाई की सुविधाएं पहुंचाईं जाएं और जनता में सफाई के लिए, साफ सड़कों और गलियों के लिए, अतिक्रमण हटाने के लिए जागरुकता पैदा की जाए जिससे भारत दुनिया का सबसे साफ देश बन सके। शहरी विकास मंत्रालय ने हाल ही में सबसे साफ शहरों की सूची जारी की  जिसमें मैसूर नंबर वन शहर बना । इसके बाद तिरुचिपल्ली दूसरे तथा नवी मुंबई को तीसरे नंबर पर रखा गया ।

4. मक इन इंडिया

मूल रूप से यह एक नारा है, जो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिया है. इसके तहत भारत में वैश्विक निवेश और विनिर्माण को आकर्षित करने की योजना बनाई गई, जिसे 25 सितंबर 2014 को लॉन्‍च किया गया.मेक इन इंडिया अभियान इसलिए शुरु किया गया जिससे भारत में बड़ी संख्या में रोजगार के अवसर पैदा हों और अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिले। मेक इन इंडिया की कोशिश है कि भारत एक आत्मनिर्भर देश बने। इसका एक उद्देश्य देश में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश को अनुमति देना और घाटे में चल रही सरकारी कंपनियों की हालत दुरुस्त करना है। मेक इन इंडिया अभियान पूरी तरह से केंद्र सरकार के अधीन है और सरकार ने ऐसे 25 सेक्टरों की पहचान की है जिनमें वैश्विक लीडर बनने की क्षमता है।

5.सांसद आदर्श ग्राम योजना

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 11 अक्टूबर 2014 को सांसद आदर्श ग्राम योजना की श की। इस योजना के अनुसार हर सांसद को साल 2019 तक तीन गांवों को विकसित करना होगा। इसका विचार यह है कि भारत के गांवों को भौतिक और संस्थागत बुनियादी ढांचे के साथ पूरी तरह विकसित किया जा सके। इस योजना के लिए कुछ दिशा निर्देश हैं जिन्हें ग्रामीण विकास विभाग ने तैयार किया है। प्रधानमंत्री ने 11 अक्टूबर 2014 को इन दिशा निर्देर्शों को जारी किया और सभी सांसदों से अपील की कि वे 2016 तक अपने संसदीय क्षेत्र में एक माॅडल गांव और 2019 तक दो और गांव तैयार करें।

6.बटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 22 जनवरी को हरियाणा के पानीपत में एक और योजना शुरू की। 100 करोड़ रुपए के शुरुआती कॉर्पस के साथ यह योजना देशभर के 100 जिलों में शुरू की गई। हरियाणा में जहां बाल लिंगानुपात (सीएसआर) बेहद कम है। इस योजना का लक्ष्य लड़कियों को पढ़ाई के जरिए सामाजिक और वित्तीय तौर पर आत्मनिर्भर बनाना है। सरकार के इस नजरिए से महिलाओं की कल्याण सेवाओं के प्रति जागरूकता पैदा करने और निष्पादन क्षमता में सुधार को बढ़ावा मिलेगा।

7.सटैंड अप इंडिया स्कीम

5 अप्रैल 2016 को नोएडा के सैक्टर 62 में पीएम ने स्टैंड अप इंडिया स्कीम की शुरुआत की। इस योजना के लिए उन्होंने एक वेब पोर्टल शुरू  किया। इसके अंतर्गत नये उद्योगों को स्थापित करने में मदद की जायेगी, जिससे देश भर में रोजगार बढ़ेगा। स्टैंड अप इंडिया स्कीम केंद्र सरकार की एक योजना है जिसके अंतर्गत 10 लाख रुपये से 100 लाख रुपये तक की सीमा में ऋणों के लिए अनुसूचित जाति/अनुसूचित जन जाति और महिलाओं के बीच उद्यमशीलता को प्रोत्साहन दिया जायेगा।
स्टैंड अप इंडिया की खासियत-
1. नये उद्यम स्थापित करने के लिए कार्यशील पूंजी घटक के समग्र के तौर पर 10 लाख रुपये से 100 लाख रुपये तक के बीच के संयुक्त ऋण।
2. कार्यशील पूंजी के आहरण के लिए डेबिड कार्ड (रूपे)।
3. ऋण प्राप्तकर्ता का ऋण इतिहास तैयार किया जाएगा।
4. 10 हजार करोड़ रुपये की प्रारंभिक धनराशि के साथ भारतीय लघु उद्योग विकास बैंक (सिडबी) के माध्यम से पुन: वित्त सुविधा।
5. एनसीजीटीसी के माध्यम से ऋण गारंटी के लिए 5000 करोड़ रुपये के कोष का निर्माण।
प्रधानमंत्री उज्‍जवला योजना
इसकी शुरुआत प्रधानमंत्री ने 1 मई 2016 को यूपी के बलिया से की.उज्ज्वला योजना के तहत 3 करोड़ BPL परिवार की महिलाओं को मुफ्त रसोई गैस कनेक्‍शन दिया.प्रधानमंत्री ने घोषणा की है कि आने वाले में तीन वर्षों में 5 करोड़ गरीब परिवारों को जहां लकड़ी का चूल्हा जलता है, मुफ्त गैस कनेक्शन दिया जाएगा.

8. अटल पेंशन योजना

- प्रधानमंत्री जन धन योजना की सफलता से उत्‍साहित देश की युवा पीढ़ी को ध्‍यान में रखकर तैयार की गई मोदी सरकार की यह एक और अहम योजना है.
- वित्त मंत्री अरुण जेटली ने फरवरी 2015 के बजट भाषण में कहा था, 'दुखद है कि जब हमारी युवा पीढ़ी बूढ़ी होगी उसके पास भी कोई पेंशन नहीं होगी.' यह योजना इसी कमी को दूर करने के लक्ष्‍य के साथ शुरू की गई.
- इससे ये सुनिश्चित होगा कि किसी भी भारतीय नागरिक को बीमारी, दुर्घटना या वृद्धावस्था में अभाव की चिंता नहीं करनी पड़ेगी.
- इसे आदर्श बनाते हुए राष्ट्रीय पेंशन योजना के तौर पर अटल पेंशन योजना एक जून 2015 से प्रभावी हो गई.
- इस योजना का उद्देश्य असंगठित क्षेत्र के लोगों को पेंशन फायदों के दायरे में लाना है.
- इससे उन्हें हर महीने न्यूनतम भागीदारी के साथ सामाजिक सुरक्षा का लाभ उठाने की अनुमति मिलेगी.

9.परधानमंत्री कौशल विकास योजना

- गरीबी के खिलाफ लड़ाई और बेहतर रोजगार अवसर के लिए देश के लोगों खासकर युवाओं को कुशल बनाने के लिए इस योजना की शुरुआत की गई.15 जुलाई 2015 को इसकी शुरुआत करते हुए पीएम ने कहा, 'अगर देश के लोगों की क्षमता को समुचित और बदलते समय की आवश्यकता के अनुसार कौशल का प्रशिक्षण दे कर निखारा जाता है तो भारत के पास दुनिया को 4 से 5 करोड़ कार्यबल उपलब्ध करवाने की क्षमता होगी।सरकार इसके तहत देश के इंडस्‍ट्रियल ट्रेनिंग सेंटर्स को बढ़ावा देती है, ताकि युवाओं को स्‍किलफुल बनाया जा सके.

10. सकन्‍या समृद्धि योजना

- इस योजना की शुरुआत पीएम मोदी ने 22 जनवरी 2015 को की.
- यह असल में 'बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ' योजना का ही विस्‍तार है, जिसका मकसद देश में बेटियों के लिए सकारात्‍मक माहौल तैयार करना है.
- इसमें बेटी के नाम से बैंक खाता खोलने पर सबसे अधिक 9.2 फीसदी का ब्‍याज दर मिलता है.
- इससे इनकम टैक्‍स में छूट मिलती है.
- इस खाते की मैच्‍योरिटी खाता खोलने की तारीख से 21 साल या फिर बेटी की शादी की तारीख जो पहले आ जाए होती है.
- इसमें शुरुआती जमा राशि‍ 1000 रुपये है, जबकि अधि‍कतम 1.5 लाख रुपये तक जमा किया जा सकता है।

11.मद्रा बैंक योजना

प्रधानमंत्री ने इस योजना की शुरुआत 8 अप्रैल 2015 को की.इसके तहत मुद्रा बैंक छोटे एंटरप्रेन्‍योर्स को 10 लाख रुपये तक का क्रेडिट देतीहै और माइक्रो फाइनेंस इंस्‍ट‍िट्यूसंश के लिए रेगुलेटरी बॉडी की तरह काम करती है.इसका उद्देश्‍य छोटे एंटरप्रेन्‍योर्स को बढ़ावा देना है.इसमें तीन विकल्‍प हैं- शि‍शु में 50 हजार तक का लोन, किशोर में 50 हजार से 5 लाख तक का लोन और तरुण में 5 लाख से 10 लाख तक का लोन दिया जाता है.
प्रधानमंत्री जीवन ज्‍योति बीमा योजना
इसकी शुरुआत इस योजना की शुरुआत प्रधानमंत्री ने 9 मई 2015 को की थी ।यह सरकार के सहयोग से चलने वाली जीवन बीमा योजना है।इसमें 18 साल से 50 साल तक के भारतीय नागरिक को 2 लाख रुपये का बीमा कवर सिर्फ 330 रुपये के सलाना प्रीमियम पर उपलब्‍ध है.

12.परधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना

- इसकी शुरुआत भी 9 मई 2015 को ही की गई थी.
- इसमें 18 से 70 साल की उम्र के नागरिक की दुर्घटनावश मृत्‍यु या पूर्ण विकलांगता की स्‍थि‍ति में 2 लाख का कवर दिया जाता है.
- आंशि‍क विकलांगता की स्‍थि‍ति में 1 लाख का बीमा कवर है.

13. किसान विकास पत्र

- यह एक सर्टिफिकेट योजना है, जो पहली बार 1988 में लॉन्‍च की गई थी. नई सरकार ने से 2014 में री-लॉन्‍च किया है.
- इसमें 1 हजार, 5 हजार, 10 हजार और 50 हजार की राशि‍ को 100 महीनों में दोगुना करने का प्रावधान है.
- इसमें किसी एक व्‍यक्‍ति‍ या ज्‍वॉइंट नाम पर भी सर्टिफिकेट जारी किया जाता है, जिसका कर्ज लेने के क्रम में इस्‍तेमाल किया जा सकता है.
- इसे वित्त मंत्री अरुण जेटली ने 18 नवंबर 2014 को लॉन्‍च किया.

14. कषि‍ बीमा योजना

- इसके तहत किसान अपनी फसल का बीमा करवा सकते हैं. यदि मौमस के प्रकोप से या किसी अन्‍य कारण से फसल को नुकसान पहुंचता है तो यह योजना किसानों की मदद करती है.

15. परधानमंत्री ग्राम सिंचाई योजना

- मोदी सरकार खुद को किसानों की सरकार बताती रही है. इसी क्रम में गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने यह सिंचाई योजना लॉन्‍च की. इसके तहत देश की सभी कृषि‍ योग्‍य भूमि को सिंचित करने का लक्ष्‍य है.

 16  स‍वायल हेल्‍थ कार्ड स्‍कीम(soil health card)

- सरकार इसके तहत किसानों को उनकी कृषि‍ भूमि की उर्वरकता के आधार पर स्‍वायल हेल्‍थ कार्ड जारी करती है.
- इस कार्ड में मिट्टी की जांच के बाद इस बात की जानकारी रहती है कि मिट्टी को किन उर्वरकों की जरूरत है. साथ ही इसमें कौन से फसल बेहतर हो सकते हैं.
- मोदी सरकार ने इसके लिए 100 करोड़ का बजट भी दिया है.

17. HRIDAY (नेशनल हेरिटेज सिटी डेवलपमेंट एंड ऑग्‍मेंटेशन
 योजना)

- शहरी विकास मंत्रालय ने 21 जनवरी 2015 को इस योजना की शुरुआत की.
- इसका मुख्‍य उद्देश्‍य हेरिटेड सिटीज के विकास पर है.
- मार्च 2017 तक इस योजना के मद में 500 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे हैं.
- अजमेर, अमरावती, अमृतसर, बदामी, द्वारका, गया, कांचीपुरम, मथुरा, पुरी, वाराणसी, वेलंकणी और वारंगल में इसके तहत काम हो रहा है.
18. इद्रधनुष

- इस योजना का उद्देश्‍य बच्‍चों में रोग-प्रतिरक्षण की प्रक्रिया को तेज गति देना है.
- इसमें 2020 तक बच्‍चों को सात बीमारियों- डिप्थीरिया, काली खांसी, टिटनेस, पोलियो, टीबी, खसरा और हेपेटाइटिस बी से लड़ने के लिए वैक्‍सनेशन की व्‍यवस्‍था की गई है.
- इसे 25 दिसंबर 2014 को केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य मंत्री जेपी नड्डा ने लॉन्‍च किया.

19. दीन दयाल उपाध्‍याय ग्राम ज्‍योति योजना

- भारत के गांवों को अबाध बिजली आपूर्ति लक्ष्‍य करते हुए इस योजना की शुरुआत की गई है.
- सरकार गांवों तक 24x7 बिजली पहुंचाने के लिए इस योजना के तहत 75 हजार 600 करोड़ रुपये खर्च करने वाली है.
- यह योजना राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना के रिप्‍लेसमेंट के तौर पर लाई गई.
भारत सरकार की कुछ महत्वपूर्ण योजनाएं

 20. दीन दयाल उपाध्‍याय ग्रामीण कौशल्‍या योजना

- यह योजना ग्रामीण जगत के युवाओं को रोजगार के अवसर मुहैया करवाने के लिए लक्षि‍त है.
- 25 सितंबर 2014 को केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और वेंकैया नायडू ने इसकी शुरुआत की.
- इसके तहत 18 साल से 35 साल के ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर दिए जाएंगे.

 21. महात्‍मा गांधी प्रवासी सुरक्षा योजना

- यह योजना विदेश मंत्रालय के अधीन है. इसके तहत विदेशों में रह रहे भारतीय मजदूरों के लिए पेंशन और जीवन बीमा की व्‍यवस्‍था है.
- यह एक वॉलेंटियरी स्‍कीम है.

 22. उड़ान प्रोजेक्‍ट

- जम्मू एवं कश्मीर में 'उड़ान' योजना की शुरुआत विशेष उद्योग पहल के तहत 40,000 युवाओं को पांच साल में प्रमुख उच्च विकास क्षेत्रों में कौशल प्रदान करने और उनमें रोजगार क्षमता बढ़ाने के उद्देश्य से की गई है.
- राष्ट्रीय कौशल विकास परिषद (एनएसडीसी) और निगमित क्षेत्र द्वारा इस योजना का क्रियान्वयन पीपीपी मोड में किया जा रहा है.